नई दिल्ली: उत्तर भारत के पहाड़ी राज्यों में बीते कुछ दिनों से हो रही लगातार बारिश की वजह से नदियों के जलस्तर में लगातार वृद्धि हो रहा है. हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड में नदियों के जलस्तर में वृद्धि का असर अब दिल्ली में भी दिखने लगा है. बाढ़ के पानी से उफनती यमुना नदी का जलस्तर 44 साल पुराना रिकॉर्ड तोड़ते हुए 207.25 मीटर पर पहुंच गया है, जो 1978 के अब तक के रिकॉर्ड सर्वाधिक जलस्तर 207.49 के करीब है. सरकारी एजेंसियों ने बुधवार को यह जानकारी दी. केंद्रीय जल आयोग (सीडब्ल्यूसी) के बाढ़-निगरानी पोर्टल के अनुसार, पुराने रेलवे पुल पर यमुना का जल स्तर 2013 के बाद पहली बार सुबह चार बजे 207 मीटर के निशान को पार कर गया था और बुधवार को सुबह आठ बजे तक बढ़कर यह 207.25 मीटर तक पहुंच गया.

दिल्ली के सीएम ने बुलाई आपात बैठक और बाढ़ प्रभावित इलाकों में धारा 144 लागू
मौसम विभाग ने पहाड़ी राज्यों में अगले कुछ दिनों तक ऐसे ही बारिश जारी रहने की भविष्यवाणी की है. ऐसे में अगले कुछ दिनों में दिल्ली में यमुना का जलस्तर और ऊपर जा सकता है. दिल्ली सरकार ने मौसम विभाग द्वारा पहाड़ी राज्यों के लिए जारी की गई चेतावनी और यमुना के बढ़ते जलस्तर को देखते हुए आपात बैठक बुलाई है. दिल्ली के जिन इलाकों में यमुना का जलस्तर बढ़ गया है, वहां एहतियात के तौर पर धारा 144 लागू कर दी गई है। इसके साथ ही अब प्रशासन पूरी तरह से अलर्ट है।
सांप व बिच्छू का खतरा बढ़ा

मयूर विहार सब डिवीजन के तहसीलदार विनोद कुमार सिंह ने बताया कि रात में पानी बढ़ने पर ऊंची व सूखी जगहों पर पानी भरने लगा तो सांप व बिच्छू निकलने लगे। लोगों को उनके घरों के पास जाकर समझाने की कोशिश की गई कि अब तराई इलाके में रहना उनके लिए सुरक्षित नहीं है। बाढ़ का खतरा होने के साथ-साथ सांप-बिच्छू भी लोगों की जान के लिए खतरा बन सकते हैं।
कुछ दिन पहले हुई मूसलाधार बारिश पर सीएम ने किया था आपातकालीन बैठक

कुछ दिन पहले दिल्ली में हुई मूसलाधार बारिश के बाद भी यमुना के जलस्तर में बढ़ोतरी हुई थी. इस बारिश के बाद दिल्ली के कई इलाकों में कई फीट तक पानी भर गया था. ऐसे में दिल्ली में बारिश को लेकर मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल ने बड़ी बैठक बुलाई थी. इस बैठक में सभी मंत्रियों, अधिकारियों और मेयर के साथ बैठक की थी. इस बैठक के बाद सीएम केजरीवाल ने कहा था कि दिल्ली में 40 साल बाद इतनी बारिश हुई है. इतनी बारिश को बर्दाश्त करने के लिए दिल्ली का सिस्टम डिजाइन नहीं है. फिर भी हम स्थिति को नियंत्रित करने की पूरी कोशिश कर रहे हैं. इस समय सभी पार्टियों को लोगों की मदद के लिए आगे आना चाहिए.
हथिनी कुंड बैराज का घटने लगा जलस्तर
हिमाचल और उत्तराखंड में कल बारिश नहीं होने के चलते हथिनी कुंड बैराज का जलस्तर घटने लगा है. ताजा जानकारी के मुताबिक फिलहाल हथिनी कुंड बैराज से करीब डेढ़ लाख क्यूसेक पानी छोड़ा जा रहा है. कल रात तक साढे तीन लाख क्यूसेक से ज्यादा पानी छोड़ा जा रहा था, लेकिन दिल्ली एनसीआर और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के लोगों के लिए अभी यह राहत की खबर नहीं है क्योंकि कल रात तक जो साढे तीन लाख क्यूसेक पानी छोड़ा गया है वह अगले 60 घंटो के बीच दिल्ली-एनसीआर और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के इलाकों में पहुंचेगा.
यमुना का जलस्तर बढ़ने से मथुरा में पुलिस अलर्ट पर
नदियों का जलस्तर बढ़ने से यूपी में भी प्रशासन सतर्क है. मथुरा के एसएसपी शैलेश कुमार पांडे ने एएनआई को बताया कि बारिश के कारण यमुना नदी का जलस्तर बढ़ रहा है. नदी के किनारे के सभी थानों को क्षेत्र में निगरानी बढ़ाने के निर्देश दिए गए हैं. अन्य एजेंसियों से भी समन्वय स्थापित किया जा रहा है जिससे अगर कहीं जलभराव हो तो तुरंत ही लोगों को वहां से बाहर निकाला जा सके.