Varanasi News : वाराणसी में 24 अगस्त से आयोजित होने वाले जी-20 सांस्कृतिक समूह सम्मेलन के लिए विदेशी मेहमान बुधवार को वाराणसी पहुंचे। इस सम्मेलन में अलग-अलग सभ्यता व संस्कृति को जोड़ने का खाका तैयार किया जाएगा। इसी सिलसिले में कल्चरल वर्किंग ग्रुप का 170 सदस्यीय प्रतिनिधि मंडल बुधवार को वाराणसी आया। सम्मेलन में शामिल होने के लिए आए मेहमानों का पारंपरिक तरीके से स्वागत हुआ। एयरपोर्ट पर कहीं धोबिया नृत्य तो कहीं शहनाई वादन के बीच तिलक लगाकर प्रतिनिधियों की अगवानी हुई।

जी-20 की चतुर्थ सांस्कृतिक समूह की बैठक वाराणसी में 24 से 26 अगस्त तक होगी। बुधवार को जी-20 सम्मेलन में शामिल होने के लिए इटली, ब्राजील, यूरोपीय यूनियन, फ्रांस, जापान, रसिया, सिंगापुर आदि देशों के मेहमान काशी पहुंचे। एयरपोर्ट रोड पर स्कूली बच्चों ने अलग-अलग देशों के झंडे के साथ विदेशी मेहमानों का स्वागत किया। सांस्कृतिक समूह की वर्किंग कमेटी में शामिल होने वाराणसी पहुंचे मेहमानों का स्वागत लोक कलाकारों ने सांस्कृतिक प्रस्तुतियों से किया। स्वागत से अभिभूत प्रतिनिधियों ने कलाकारों से लोककला की प्राचीनता और इतिहास के बारे में जाना। बनारसी कलाकारों ने लोक नृत्य और दीवारी मार्शल आर्ट्स का प्रदर्शन किया। लोकनृत्य करमा, धोबिया नृत्य,राई व नटवरी लोकनृत्य से मेहमानों का स्वागत हुआ। इस दौरान एसडीएम पिंडरा प्रतिभा मिश्रा, एयरपोर्ट डायरेक्टर समेत तमाम अधिकारी शामिल रहे।

स्वागत से अभिभूत दिखे मेहमान
लाल बहादुर अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट से होटल तक सांस्कृतिक कार्यक्रमों की धूम रही। शहनाई बजी। बग्घी से होटल तक पहुंचाया गया। इससे मेहमान अभिभूत दिखे। सब सांस्कृतिक प्रस्तुतियों को कैमरे में कैद करते नजर आए। केंद्रीय संयुक्त सचिव लिली पांडेय के मुताबिक, गुरुवार से होने वाली बैठक में विभिन्न देशों की संस्कृति को संरक्षित करने व उन्हें बढ़ावा देने का खाका तैयार किया जाएगा। साथ ही अंतरराष्ट्रीय डाक टिकट जारी किया जाएगा। वैश्विक वेबिनार रिपोर्ट के रूप में जी 20 कल्चर का मसौदा भी तैयार होगा।

डिजिटल तकनीक के लाभ विषयों पर होगी चर्चा
खजुराहो, भुवनेश्वर, कनार्टक के हम्पी के बाद बनारस में हो रही संस्कृति कार्य समूह (सीडब्ल्यूजी) की इस बैठक में सांस्कृतिक संपदा का संरक्षण, उनकी पुनर्स्थापना, भविष्य में विरासत का उपयोग, सांस्कृतिक गठजोड़ से अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देना, संस्कृति को सहेजने में डिजिटल तकनीक का लाभ आदि विषयों पर मंथन होगा। अब तक की बैठक का परिणाम है कि विदेश से मां अन्नपूर्णा की मूर्ति समेत 320 से अधिक भारतीय विरासत से जुड़ी चीजों को वापस लाने में सफलता मिली है। बैठक का मुख्य उद्देश्य स्थानीय खानपान, स्थानीय कला-संस्कृति को प्रोत्साहित करना और भारत व काशी की कला-संस्कृति व विरासत से विश्व को परिचित कराना है।
जारी होगी महत्वपूर्ण रिपोर्ट
उन्होंने आगे बताया कि इस बैठक में सीडब्ल्यूजी के दौरान प्राथमिकता वाले क्षेत्रों पर विशेषज्ञ-संचालित वैश्विक विषयगत वेबिनार के विचारों और सिफारिशों को ‘जी-20 कल्चरः शेपिंग दी ग्लोबल नैरेटिव फॉर इंक्लूसिव ग्रोथ’ (जी-20 संस्कृति: समावेशी विकास के लिए वैश्विक विमर्श को आकार देना) नामक एक व्यापक रिपोर्ट में शामिल किया गया है। इस रिपोर्ट को भारत की जी-20 अध्यक्षता में संस्कृति कार्य- समूह द्वारा संस्कृति मंत्रियों की बैठक के एक भाग के रूप में वाराणसी में जारी किया जाएगा।