Varanasi VDA: धर्म नगरी व प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र काशी (varanasi) में हरियाली बढ़ाने के साथ हरा-भरा पिकनिक स्पॉट यानी सिटी फॉरेस्ट विकसित होगा। वाराणसी विकास प्राधिकरण (वीडीए) ने इसकी तैयारी शुरू कर दी है। वीडीए उपाध्यक्ष राहुल पांडेय ने बताया कि शहर में ग्रीन एरिया बढ़ाने के लिए सिटी फॉरेस्ट बनाने का प्लान नगर नियोजन विभाग तैयार कर रहा है।
सिटी फॉरेस्ट के लिए शहर की आउटर रिंग रोड के किनारे उंदी गांव में 30 एकड़ जमीन चिह्नित की गई है। गांव में एक तालाब है। इसे गोरखपुर के रामगढ़ ताल की तर्ज पर विकसित किया जाएगा। तालाब का सुंदरीकरण कर इसे नौकायन के लिए उपयोगी बनाया जाएगा।
गाजियाबाद विकास प्राधिकरण द्वारा तैयार कराई गई सिटी फॉरेस्ट के आधार पर यहां पर बनारस में भी सिटी फॉरेस्ट बनेगा। इसमें जॉगिंग ट्रैक, झूले आदि की व्यवस्था भी की जाएगी। फॉरेस्ट सिटी विकसित करने के लिए उंदी गांव में पुशपालन विभाग को दी गई छह एकड़ जमीन को वापस लेने के लिए विभागीय स्तर पर बातचीत शुरू हो गई है।
बता दें कि बनारस शहर के हरियाली नाम की रह गई है। शहरों मे पर्यावरण संतुलन के लिए तय मानक 33 फीसदी की जगह वाराणसी में 1.11 प्रतिशत (प्रति वर्ग किलोमीटर) की ग्रीन एरिया है। इसी साल जुलाई महीने में पीएम मोदी द्वारा शुरू किए गए ‘हरियाली’ अभियान के तहत लगाए गए 24 लाख में से 25 फीसदी भी पौधे बचे नहीं हैं।

उंदी फारेस्ट सिटी को जोड़ा जाएगा सारनाथ से
अधिकारियों का प्रयास है कि अगर सारनाथ में पर्यटक आते हैं तो वह ऊंदी ईको-स्पॉट को भी देखने जाएं। इसलिए ईको टूरिस्ट स्पॉट के रूप में विकसित होने वाले उंदी ताल की रिंग रोड होते हुए सारनाथ से भी कनेक्टिविटी देने की तैयारी है। इसके लिए रिंग रोड से उंदी ताल की सड़क दुरुस्त की जाएगी।
ऊंदी में मिलने वाली फेसेलिटी
– 50 वर्गमीटर में फैले तालाब में नौकायन
– 30 हजार वर्गमीटर में लगाए जाएंगे पौधे
– 300 वर्गमीटर का बॉटिनिकल और मेडिसिन गार्डन
– 6 हजार मीटर में योगा सेंटर और ओपन जिम
– चिल्ड्रन प्ले एरिया, टेंट रूम, साइकिल ट्रैक
– 9 हजार वर्गमीटर में लोटस लेक
– वॉच टावर से पूरे शहर का नजारा